आखिर भारत और चीन की आबादी इतनी ज्यादा क्यों है?
चीन और भारत दुनिया की सबसे बड़ी आबादी वाले देश हैं जहां चीन की जनसंख्या 1.4 बिलियन और भारत की 1.3 बिलियन जनसंख्या पूरी दुनिया पर अकेले भारी पड़ सकती है, अगर भारत और चीन की आबादी को इकट्ठा कर दें तो यह पूरी दुनिया की आबादी का 37% भाग है जबकि जमीन की बात करें तो दोनों को मिलाकर लगभग केवल 8.2% ही है ।
अगर जमीन को देख कर बात करें तो रूस के पास दुनिया में सबसे ज्यादा जमीन है, अमेरिका के पास भारत से लगभग 3 गुना ज्यादा जमीन है फिर भी इन देशों की जनसंख्या कम है।
सबसे पहले हम यह जान लेते हैं कि किसी देश की जनसंख्या को पनपने के लिए आवश्यक चीजें क्या क्या होती है ।
जनसंख्या वृद्धि के लिए आवश्यक चीजें
जनसंख्या का पोषण करने के लिए सबसे ज्यादा आवश्यक है खाना और यह निर्भर करता है कृषि पर अगर हमें जनसंख्या का पोषण करना है तो हमें खेती करनी पड़ेगी और खेती के लिए आवश्यक है।
1.पानी
2. अच्छी मिट्टी
3. आवश्यक जलवायु
और अगर आप दुनिया की प्रमुख नदियों को देखें तो ज्यादातर बर्फीले इलाकों में हैं, कुछ वर्षावन वाले देशों में हैं जो कि कृषि के लिए उपयुक्त नहीं है। दुनिया की सात प्रमुख नदियां जिन्होंने प्रमुख सभ्यताओं को जन्म दिया उनमें से चार भारत और चीन में है ।
भारत और चीन के पास दुनिया के सबसे ज्यादा उपजाऊ मैदान हैं, भारत की सिंधु घाटी सभ्यता भी इन्हीं मैदानों की देन थी, हमारे पास गंगा नदी के मैदानों वाली उपजाऊ जमीन है और चीन के पास उत्तर में पीली नदी, और दक्षिण में यांग्त्ज़ी नदी वाले उपजाऊ मैदान हैं।
जहां दुनिया की प्रमुख सभ्यताएं जैसे मिस्र की नील नदी की सभ्यता ईरान और इराक जिनके पास ज्यादा नदियां नहीं है और जमीन मरुस्थलीय है जिस कारण उन्हें उतना एडवांटेज नहीं मिला ।
और वहीं अमेरिका की मिसिसिप्पी नदी सभ्यता दुनिया के संपर्क में नहीं आ पाई जबकि भारत और चीन प्राचीन काल से ही यूरोप के साथ व्यापार करते थे ।
साथ ही भारत और चीन कर्क रेखा और मकर रेखा के बीच में पड़ते हैं जो कि मानव सभ्यता के विकास के लिए आदर्श जगह है ।
अमेरिका के पास बहुत ज्यादा जमीन है मगर कुछ बीमारियां और नरसंहारों की वजह से वहां के मूल निवासियों की जनसंख्या बहुत घट गई थी लेकिन इसके बावजूद अमेरिका तीसरे नंबर पर आता है ।
चीन और भारत में मुख्य फसल चावल और गेहूं है और आपको इतनी बड़ी जनसंख्या को जीवित रखना है तो चावल का योगदान बेहद महत्वपूर्ण है क्योंकि यह उर्जा और पैदावार दोनों के लिहाज से अव्वल फसल है।
चीन और भारत की प्राकृतिक सुरक्षा
प्राचीन काल से ही हिमालय, थार का मरुस्थल और पूर्व के जंगलों नें भारत की रक्षा बाहरी आक्रमणों से की है तथा चीन की रक्षा साइबेरिया गोबी मरुस्थल और तिब्बत के पठार ने की है ।
यूरोप में तो बहुत सारी जनसंख्या प्लेग के कारण छठवीं शताब्दी में 50% जनसंख्या और चौदवीं शताब्दी में 50 मिलियन से ज्यादा लोग ब्लैक डेथ से मारे गए तथा इरानियों की तो 90% जनसंख्या मंगोलो ने मार डाली थी ।
अमेरिका के मूल निवासी मारे गए थे नहीं तो शायद आज अमेरिका दुनिया में सबसे ज्यादा जनसंख्या वाला देश होता और अगर अमेरिका में यूरोपीय लोग नहीं आते तो नरसंहार भी नहीं होते और बहुत सी जानलेवा बीमारियां भी नहीं आती जिनके कारण 90% से ज्यादा अमेरिका के मूल निवासी मारे गए नहीं तो शायद आज अमेरिका दुनिया में सबसे ज्यादा जनसंख्या वाला देश होता।
निष्कर्ष -
इस बात का निष्कर्ष यह निकलता है कि बहुत सी चीजें भारत और चीन के पक्ष में थी जिस कारण जनसंख्या में आज हम शिखर पर हैं जैसा कि अन्य देशों के साथ नहीं था।